Psalms 146
1यहोवा के परसंसा करव।हे मोर मन, यहोवा के परसंसा कर।
2मेंह जिनगी भर यहोवा के परसंसा करहूं,
जब तक मेंह जीयत रहिहूं, मेंह अपन परमेसर के परसंसा के गीत गाहूं।
3हाकिममन ऊपर भरोसा झन रखव,
न ही कोनो मनखे ऊपर, जऊन ह कि रकछा नइं कर सकय।
4जब ओमन के परान चले जाथे, त ओमन माटी म मिल जाथें;
ओहीच दिन ओमन के योजना ह खतम हो जाथे।
5धइन अंय ओमन, जेमन के मददगार याकूब के परमेसर ए,
जेमन के आसा ह यहोवा ओमन के परमेसर ऊपर रहिथे।
6ओह अकास अऊ धरती, समुंदर,
अऊ ओमा के जम्मो चीजमन ला रचे हवय—
ओह हमेसा बिसवासयोग्य बने रहिथे।
7ओह दुखित-पीड़ितमन के नियाय करथे
अऊ भूखन मनखेमन ला जेवन देथे।
यहोवा ह कैदीमन ला छुड़ाथे,
8यहोवा ह अंधरा ला आंखी देथे,
यहोवा ह ओमन ला ऊपर उठाथे, जऊन मन खाल्हे झुकथें,
यहोवा ह धरमीमन ले मया करथे।
9यहोवा ह परदेसीमन के रखवारी करथे
अऊ अनाथ अऊ बिधवामन ला संभालथे,
पर ओह दुस्टमन के योजना ला बिगाड़ देथे।
10यहोवा ह सदा-सर्वदा राज करथे,
हे सियोन, तोर परमेसर ह पीढ़ी-पीढ़ी तक राज करथे।
यहोवा के परसंसा करव।
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